June 16, 2025

नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने डॉन न्यूज़, समा टीवी और जियो न्यूज़ सहित 16 पाकिस्तानी यूट्यूब चैनलों के भारत में प्रसारण पर रोक लगा दी है.

रिपोर्ट के मुताबिक, सरकार की ओर से ये कदम जम्मू-कश्मीर में पहलगाम आतंकवादी घटना की पृष्ठभूमि में भारत, भारतीय सेना और सुरक्षा एजेंसियों के खिलाफ भड़काऊ और सांप्रदायिक रूप से संवेदनशील सामग्री, झूठे और भ्रामक बयान और गलत सूचना प्रसारित करने के आरोप में यह प्रतिबंध लगाया गया है.

पीटीआई और एएनआई उन समाचार एजेंसियों और आउटलेट्स में से हैं, जिन्होंने सरकारी सूत्रों के हवाले से कहा है कि यह प्रतिबंध ‘गृह मंत्रालय की सिफारिशों’ पर लगाया गया है.

 

ज्ञात हो कि इन प्रतिबंधित चैनलों के कुल मिलाकर 63.08 मिलियन फॉलोअर्स हैं.

इन चैनलों के लिंक पर क्लिक करने पर ये अब एक संदेश पर ले जाता है, जिसमें लिखा है, ‘यह सामग्री वर्तमान में इस देश में उपलब्ध नहीं है क्योंकि सरकार की ओर से राष्ट्रीय सुरक्षा या सार्वजनिक व्यवस्था से संबंधित आदेश दिया गया है. सरकारी निष्कासन अनुरोधों के बारे में अधिक जानकारी के लिए गूगल पारदर्शिता रिपोर्ट (transparencyreport.google.com) पर जाएं.’

मालूम हो कि बीते दिनों पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 नागरिकों की जान चली गई थी, जबकि कई अन्य लोग घायल हो गए थे.

इसके बाद भारत सरकार ने पाकिस्तान पर आतंकवादियों से मिलीभगत का आरोप लगाया है और सिंधु जल संधि को स्थगित रखने सहित कई फैसलों की घोषणा की है. पाकिस्तान ने जवाबी कार्रवाई की बात कही है, जिसमें सभी द्विपक्षीय समझौतों से दूर रहने की संभावना भी शामिल है.

बीबीसी को भी पत्र लिखा गया

हिंदुस्तान टाइम्स ने एक सरकारी सूत्र के हवाले से बताया है कि सरकार ने ‘पहलगाम से संबंधित अन्य सोशल मीडिया पोस्ट और रिपोर्टिंग के खिलाफ कार्रवाई शुरू की है, जिसमें बीबीसी भी शामिल है.’

अखबार ने एक अधिकारी के हवाले से बताया कि विदेश मंत्रालय के एक्सपी डिवीजन ने जैकी मार्टिन, जो भारत में बीबीसी प्रमुख हैं, को इस आतंकी हमले पर उनके संस्थान की रिपोर्टिंग के बारे में भारत की भावनाओं से अवगत कराया है.

बीबीसी को एक औपचारिक पत्र लिखकर आतंकवादियों को ‘उग्रवादी’ बताने को लेकर आपत्ति जताई गई है. उन्होंने कहा, ‘एक्सपी डिवीजन बीबीसी की आगे की रिपोर्टिंग पर भी नज़र रखेगा

इस संबंध में कई अन्य आउटलेट्स ने भी केंद्र सरकार द्वारा बीबीसी को भेजे गए एक कथित पत्र की रिपोर्ट की है.

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